बैतूल में गूंजा ‘एक राष्ट्र-एक चुनाव’ का स्वर, सम्मेलन में प्रबुद्ध जनों ने दिया समर्थन
ब्यूरो रिपोर्ट
- बैतूल में गूंजा ‘एक राष्ट्र-एक चुनाव’ का स्वर, सम्मेलन में प्रबुद्ध जनों ने दिया समर्थन
- सेवानिवृत्त न्यायाधीश रोहित आर्य ने कहा-एकसाथ चुनाव से होगी अरबों की बचत, बढ़ेगा मतदान प्रतिशत और मजबूत होगा लोकतंत्र
- केंद्रीय राज्य मंत्री दुर्गादास उइके बोले – प्रधानमंत्री मोदी जी का यह दूरदर्शी कदम विकसित भारत की नींव
बैतूल में एक राष्ट्र-एक चुनाव समिति के तत्वावधान में शनिवार, 4 अक्टूबर 2025 को भारत रत्न अटल बिहारी बाजपेयी सभागृह (पीएम श्री जेएच कॉलेज परिसर) में ‘एक राष्ट्र-एक चुनाव : राष्ट्रव्यापी विचार एवं परामर्श सम्मेलन’ का भव्य आयोजन सम्पन्न हुआ।
सम्मेलन की अध्यक्षता केंद्रीय राज्य मंत्री श्री दुर्गादास उइके जी (जनजातीय कार्य मंत्रालय एवं सांसद बैतूल-हरदा-हरसूद) ने की,तथा मुख्य वक्ता के रूप में सेवानिवृत्त न्यायाधीश एवं प्रदेश संयोजक ‘एक राष्ट्र-एक चुनाव समिति’ श्री रोहित आर्य जी ने विस्तृत उद्बोधन दिया।
रोहित आर्य जी ने अपने संबोधन में कहा कि “‘एक राष्ट्र-एक चुनाव’ केवल चुनावी सुधार नहीं बल्कि लोकतंत्र को सुदृढ़ बनाने का ऐतिहासिक कदम है। आज अलग-अलग समय पर होने वाले चुनावों पर हजारों करोड़ रुपये खर्च होते हैं, प्रशासनिक मशीनरी और सुरक्षा बलों की ऊर्जा बर्बाद होती है। यदि पूरे देश में लोकसभा और विधानसभा चुनाव एक साथ होंगे तो यह धनराशि शिक्षा, स्वास्थ्य, रोजगार और विकास कार्यों पर खर्च की जा सकेगी।”
उन्होंने आगे कहा कि “लगातार चुनावों के कारण सरकारें दीर्घकालिक योजनाओं पर ध्यान नहीं दे पातीं। एकसाथ चुनाव होने से उन्हें नीतियों और योजनाओं को बेहतर तरीके से लागू करने का अवसर मिलेगा। “मतदाताओं को भी लाभ होगा, क्योंकि उन्हें बार-बार मतदान करने की बजाय एक ही समय पर मताधिकार प्रयोग करना होगा। इससे मतदान प्रतिशत बढ़ेगा और लोकतंत्र और अधिक सुदृढ़ होगा।”
श्री आर्य ने यह भी कहा कि –
“स्थानीय मुद्दों को भी इस प्रक्रिया से राष्ट्रीय विमर्श का हिस्सा बनने का अवसर मिलेगा। इससे लोकतंत्र परिपक्व होगा और देश की एकजुटता मजबूत होगी।”
अध्यक्षीय उद्बोधन में केंद्रीय मंत्री दुर्गादास उइके जी ने कहा कि
“प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी का ‘एक राष्ट्र-एक चुनाव’ का संकल्प विकसित भारत की दिशा में एक बड़ा कदम है। यह न केवल प्रशासनिक सुधार है बल्कि लोकतंत्र की मजबूती और राष्ट्रीय एकता का प्रतीक है।”
उन्होंने कहा कि –
“लगातार चुनावों से समय और संसाधनों की बर्बादी होती है। एकसाथ चुनाव होने से ऊर्जा विकास और कल्याणकारी कार्यों में लगेगी। यह भारत को विश्व में और मजबूत बनाएगा।
इस विचार और परामर्श सम्मेलन में मध्यप्रदेश जन अभियान परिषद के उपाध्यक्ष राज्य मंत्री श्री मोहन नागर जी,जिलाध्यक्ष भाजपा श्री सुधाकर पवार जी,विधायक आमला डॉ योगेश पंडाग्रे जी,विधायक घोड़ाडोंगरी श्रीमती गंगा सज्जन सिंह उइके जी,विधायक मूलताई श्री चंद्रशेखर देशमुख जी,नपाध्यक्ष बैतूल श्रीमती पार्वती बाई बारस्कर जी मंचासिन रहे। साथ ही बैतूल के प्रबुद्ध जन, शिक्षाविद, अधिवक्ता, समाजसेवी,व्यवसाई और युवा बड़ी संख्या में शामिल हुए।
सभी ने ‘एक राष्ट्र-एक चुनाव’ की आवश्यकता और महत्व पर जोर देते हुए इसे देशहित में आवश्यक बताया।
सम्मेलन का संचालन एक राष्ट्र एक चुनाव के जिला संयोजक श्री अतीत पवार ने किया तथा आभार प्रदर्शन एक राष्ट्र-एक चुनाव के जिला सहसंयोजक श्री जयदीप रूनवाल की ओर से किया गया।