11 वर्षों से फरार स्थायी वारंटी व ईनामी वन्यप्राणी शिकारी अजीत पारधी
ब्यूरो रिपोर्ट
प्रधान मुख्य वन संरक्षक (वन्यप्राणी) एसटीएसएफ ने बताया कि विगत 11 वर्षों से फरार चल रहे ईनामी व स्थाई वारंटी आरोपी अजीत पारधी को 18 जुलाई को लालबर्रा जिला बालाघाट से गिरफ्तार किया गया। आरोपी अपने निवास स्थान से फरार रहकर वन विभाग को चकमा दे रहा था। उक्त आरोपी की गिरफ्तारी के लिये वन्यप्राणी मुख्यालय द्वारा 5000/- रूपये का ईनाम भी जारी किया गया था। स्टेट टाइगर स्ट्राइक फोर्स लगातार आरोपी को पकडने का प्रयास कर रही थी। इन्टेजिलेन्स इनपुट के अनुसार एसटीएसएफ द्वारा कार्रवाई करते हुए आरोपी अजीत को अपनी अभिरक्षा में लिया गया। आरोपी के कब्जे से वन्यप्राणी पैंगोलिन के स्केल्स से बनी करधन बरामद की गई। वन्यप्राणी अवयव की जप्ती की जाकर अग्रिम विवेचना जारी है।
आरोपी श्री अजीत पारधी वन्यजीव बाघ व पेंगोलिन स्केल्स शिकार व तस्करी में आदतन आरोपी है। जिसके विरूद्ध सीबीआई अपराध न. आर.सी. 57 बी 2009 ई 0004 वर्ष 2009, नागपुर बाघ शिकार पीओआर न. 32/13 दि. 08.06.2013 उमरेड, नागपुर वनमंडल पीओआर न. 1/23 दि. 18.09.2013, उमरेड करंडला अभ्यारण पीओआर न. 1615/20 दि. 20.10.2013 प्रकरण देश के कई राज्यों में दर्ज है। आरोपी को मुख्य न्यायिक दण्डाधिकारी जबलपुर के समक्ष पेश किया जायेगा। प्रकरण में विवेचना जारी है।
उल्लेखनीय है कि पेंच टाइगर रिजर्व सिवनी के रूखड़ परिक्षेत्र (बफर) में वर्ष 2013 में वन्य प्राणी बाघ से संबंधित वन अपराध प्रकरण कमांक 1216/04 दिनांक 06.02.2013 पंजीबद्ध किया गया था। प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए प्रधान मुख्य वन संरक्षक (व.प्रा.) एवं मुख्य वन्यप्राणी अभिरक्षक म.प्र. द्वारा उक्त प्रकरण को अग्रिम विवेचना के लिये स्टेट टाईगर स्ट्राइक फोर्स की जबलपुर इकाई को वर्ष 2017 में स्थानांतरित किया गया। प्रकरण में अग्रिम कार्रवाई करते हुए कुल 10 आरोपियों को गिरफ्तार कर माननीय न्यायालय के समक्ष पेश किया जा चुका है।