चार सौ वेद मंत्रों से अंधकार से ज्ञान की ज्योति जलाने दी जा रही आहुतियां
ब्यूरो रिपोर्ट
सारनी। अंधकार को मिटाने और वेद मंत्रों से ज्ञान की ज्योति जलाने चार सौ वेद मंत्रों से आर्य सामाजियों द्वारा आहुतियांदी जा रही हैं।
चार द्विवसीय वैदिक यज्ञ शिवाजी ग्राउंड स्थित ओल्ड एफ कालोनी में रविवार सुबह से शुरु हुआ है। वैदिक यज्ञ में सामवेद,यजुवेद,अर्थवेद और ऋगवेद के 4 सौ मंत्रों से आहुतियां दी जा रही है। यज्ञ सुबह 6 से 9 और शाम 4 से 7 बजे तक चलेगा यज्ञ के प्रत्येक मंत्रों में घी और हवन की आहुतियां उपस्थित यज्ञमानों द्वारा दी जा रही है।
यज्ञ का समापन 26 फरवरी महाशिरात्री की शाम को होगा। यज्ञ का उद्दश्ेय अंधकार में प्रकाश का बोध कराने और वेदों का पठन-पाठन कर इश्वर द्वारा बताए गए सत्य मार्गो में चलना है। महर्षि दयानंद सरस्वती की है 201 व प्रारंभ है इसको लेकर बैतूल के सारनी में आर्य समाजियों द्वारा हर साल महाशिवरात्री के चार दिन पहले वैदिक यज्ञ किया जाता है।
दिनेश आर्य ने बताया कि आर्यस्वामी दयानंद के 200 वी जयंती के उपलक्ष में सारनी नगर में चारों वेदों के 4 सौ मंत्रों से आहुतियों दी जा रही है। स्वामी दयानंद ने लोगों को एक नारा दिया की सब सत्य विद्या और जो पदार्थ है विद्या से जाने जाएंगे उन सब का आदि मूल परमेश्वर है। उन्होने बताया कि हिंदू जाति उठो जागो और वेदों की ओर लौटो पुन: इस भूमि पर वेदों की स्थापना वेदों का ध्यान सब प्राणी मात्र के कल्याण के लिए है।
प्रेमलाल आर्य ने बताया कि इश्वर मंदिर-मंजित-चर्ज और गुरुद्वारे में नहीं बल्कि हमारें अंदर विराज मान है। इश्वर को जानने के लिए वेदों का अध्यन करना अतिअवश्यक है। उन्होने कहा कि इश्वर न जन्म लेता है न ही मरता है वह सर्वव्यापी निराकार है।
सनील और सुरेश आर्य ने वेदों के मंत्रों का उच्चारण कर बताया कि इश्वर न्यायकारी और सर्वशक्ति मान है वह रोम-रोम में बस रहा है,उसे जानने के लिए सत्सप्रकाश और वेदों का अध्यन करने की जरुरत है। उन्होने बताया कि निज वेद यज्ञ करने से सत्य का मार्ग में चलने की प्रेरणा मिलने के साथ ज्ञान का प्रकाश बढ़ता है। स्वामी दयानंद जी का जीवन बहुत संघर्ष पूर्ण रहास्वामी जी ने वेदों की बात लोगों तक पहुंचाने के लिए अनेकों पत्थर और रोड खाए लेकिन अपनी बातों से वह कभी नहीं डीजे अपने सिद्धांतों पर अटक रहकर अनेकों बुराइयों को जड़ से उखाडऩे में सफल रहे हैं। उन्होने कुरीतियां बाल विवाह विधवा विवाह अंधविश्वास पाखंड अनेकों अनेकों अंधविश्वास का खुलकर सामना किया और पाखंडिय़ों का सामराज्य उखाड़ फेंका। वैदिक यज्ञ में पुन: वेदों की ओर लोटने की अलख जगाई जा रही है। संदेश बैतूल जिले के सारनी के आर्य समाजियों द्वारा ऐसी पहल की जा रही है। सारणी में यज्ञ चल रहा है उसे यज्ञ के माध्यम से स्वामी दयानंद जी का जन्मदिन मनाया जा रहा है बड़े आनंद उत्साह के साथ बड़ी भारी संख्या में लोग उपस्थित होकर श्रद्धा भाव के साथ स्वामी दयानंद सरस्वती के जन्मदिन पर वेद मंत्रों से आहुतियां दी जा रही हैं।